Correct and commendable step to ban gun culture in Punjab

पंजाब में गन कल्चर पर रोक सही व सराहनीय कदम

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Correct and commendable step to ban gun culture in Punjab

Correct and commendable step to ban gun culture in Punjab : पंजाब में भगवंत मान (Bhagwant Man) सरकार जो समय-समय पर निर्णय ले रही है, चाहे वह सांसद, विधायक पेंशन (MP, MLA Pension) मामलों पर रोक लगाने या अन्य कोई मामले हो तथा अब गन कल्चर पर लगाम लगाने के लिए जो मान सरकार ने कड़े कदम उठाने का निर्णय लिया है वह एक सराहनीय कदम हैं। मुख्यमंत्री मान ने बंदूक रखने और उसके प्रदर्शन को लेकर जो सख्त आदेश जारी किए हैं वे समय की मांग और राज्य में अपराध की रोकथाम के लिए बेहद जरुरी कार्य है। अब पंजाब में बंदूक का ऑनलाइन या ऑफलाइन प्रदर्शन नहीं किया जाएगा। ऐसे गाने जो हथियार या फिर हिंसा को महिमामंडित करते हैं, उनपर सख्ती से रोक लगाई जाएगी। इसके अलावा अब तक हथियारों के जितने भी लाइसेंस जारी किए गए हैं उनकी तीन महीने के भीतर ही समीक्षा की जाएगी। पंजाब में पिछले दिनों से अनेक ऐसी आपराधिक वारदातें हुई हैं, जिनसे राज्य में तमाम सवाल उठ गए हैं। गन कल्चर पर इस तरह का वार जरूरी था।
 

सरकार का यह आदेश सही है कि किसी को हथियार का नया लाइसेंस (new arms license) तब तक नहीं दिया जाएगा जब तक कि डीएम व्यक्तिगत रूप से इसकी सिफारिश ना करें। इसके अलावा शादी या अन्य कार्यक्रमों में फायरिंग करना अपराध माना जाएगा। नियमों का उल्लंघन करने वाले के खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा और कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
 

गौरतलब है कि आप सरकार द्वारा सूबे में गन कल्चर पर कार्रवाई का एलान होते ही उपायुक्त और पुलिस कमिश्नरों की शक्तियां (Powers of Police Commissioners) बढ़ाने की तैयारी हो गई है। बताया गया है कि बहुत जल्द राजस्व जिलों में उपायुक्त और कमिश्नरेट जिलों में पुलिस कमिश्नर पावरफुल होने जा रहे हैं। जिलों के ये उच्चाधिकारी धारा 144 का इस्तेमाल करते हुए गन कल्चर से जुड़े मामलों में तुरंत कार्रवाई कर सकेंगे। यूट्यूब और अन्य सोशल मीडिया पर पुलिस का साइबर विंग नजर रखेगा।
 

पंजाब में उपायुक्तों को बहुत जल्द ये शक्तियां प्रदान की जा रही हैं। हालांकि पहले भी इस तरह के निर्देश जारी हुए हैं लेकिन आदेश स्पष्ट न होने से कार्रवाई करने में दिक्कत होती थी। सरकार द्वारा जारी नए आदेश के तहत जिलों में पुलिस कमिश्नर और उपायुक्तों को धारा 144 के तहत सोशल मीडिया में गन के साथ फोटो डालने, गानों में इस तरह के कल्चर को प्रोत्साहित करने के मामलों में एफआईआर दर्ज करने की शक्तियां मिलेंगी, जिसको लेकर बहुत जल्द अधिसूचना जारी होगी। ऐसे मामलों में धारा 144 (section 144) लागू करने के बाद आईपीसी 188 (IPC 188) के तहत पुलिस अपराध करने वाले व्यक्ति को गिरफ्तार कर सकेगी। वहीं, तीन माह के भीतर सभी लाइसेंसों की समीक्षा के दौरान सेक्शन-17 के तहत ऐसे व्यक्ति का लाइसेंस रद्द किया जा सकता है, जिस पर शांति भंग करने का मामला दर्ज हुआ हो। इसके अलावा समीक्षा के दौरान अगर व्यक्ति शस्त्र रखने में अक्षम साबित होता है तो उसका लाइसेंस भी रद्द किया जाएगा। हां, कल्चर पर प्रतिबंध लगाने के आदेश से पंजाब में कई गायकों को झटका लगा है। लेकिन गौर हो कि पिछले एक दशक से पंजाब की म्यूजिक इंडस्ट्री (Music industry) में गन कल्चर (gun culture) के जुड़े गानों का बोलबाला है। अधिकांश गायक गीतों में हथियारों की नुमाइश करते देखे जा सकते हैं। यहां तक कि गानों के बोल भी हथियारों से जुड़े होते हैं। ऐसे में उन गायक कलाकारों के लिए मान सरकार के आदेश किसी बड़े झटके से कम नहीं, जिन्होंने पहले ही इस तरह के गाने शूट कर रखे हैं। बताया जा रहा है इस तरह के बहुत से गीत यूट्यूब समेत अन्य सोशल मीडिया पर रिलीज होने हैं, जिनमें गन कल्चर को खुलकर दिखाया गया है। बहरहाल, सरकार के आदेश से गीतकार और गायक सकते में है। 

बहरहाल पंजाब सरकार (Punjab Govt.) ने कुछ देरी से ही लेकिन सही फैसला लिया है, हालांकि पंजाब जैसे संवेदनशील राज्य के लिए सुरक्षा के संबंध में और सख्त कदम उठाए जाने की जरूरत है। सरकार को अपराधियों के खिलाफ अंतिम जंग शुरू करनी चाहिए। 

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